प्लीबारगेनिंग एवं अपील के अधिकार के संबंध में विधिक साक्षरता शिविर सम्पन्न
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शिवपुरी | 20-अगस्त-2019 राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण, नई दिल्ली एवं मध्यप्रदेश राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, जबलपुर के निर्देशन में एवं जिला न्यायाधीश जिला विधिक सेवा प्राधिकरण शिवपुरी श्री अमनीश कुमार वर्मा के मार्गदर्शन में प्लीबारगेनिंग (सौदा अभिवाक) एवं अपील के अधिकार विषय पर कानूनी जागरूकता शिविर आज सर्किल जेल शिवपुरी में आयोजित किया गया।
शिविर में जिन बंदियों के पास उनकी कार्यवाही हेतु अधिवक्ता न होने पर तत्काल अधिवक्ता नियुक्त किए जाने की कार्यवाही की गई तथा जिन कैदियों को उनके अधिवक्ताओं के संबंध में कोई जानकारी नहीं थी। उन्हें उनके अधिवक्ता के नाम बताए जाकर उनसे संपर्क करवाया गया।
अपर जिला जज श्री प्रमोद कुमार सिंह ने द्वारा बंदियों को प्लीबारेगेनिंग के बारे में बताया गया कि ऐसे अपराध जो कि महिलाओं, बालकों एवं सात वर्ष से अधिक अवधि से दण्डनीय अपराधों से संबंधित नहीं है, उन अपराधों में यदि अभियुक्त द्वारा अभिरक्षा में आधे से अधिक अवधि व्यतीत कर ली है तब वह संबंधित न्यायालय में प्लीबार्गेनिंग हेतु आवेदन पेश कर सकता है, जिस पर संबंधित न्यायालय समुचित कार्यवाही करेगा।
जिला विधिक सहायता अधिकारी श्रीमती शिखा शर्मा ने बंदियों को बताया कि यदि वे विचारण न्यायालय के निर्णय के विरूद्ध अपील करना चाहते है, तब उस स्थिति में अपील में भी विधिक सहायता के माध्यम से अपील प्रस्तुत कर सकते है, यह बंदियों का कानूनी अधिकार है। इसी के साथ-साथ बंदियों को जेल लोक अदालत जमानत का अधिकार निःशुल्क विधिक सहायता जिसके अंतर्गत समस्त बंदियों को शासन द्वारा निःशुल्क वकील उपलब्ध करवाया जाता है, उसके संबंध में भी जानकारी दी गई तथा महिला एवं पुरूष बंदियों के स्वास्थ्य के संबंध में पूछताछ कर उचित उपचार की कार्यवाही किए जाने हेतु आश्वस्त किया गया।
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शिवपुरी | 20-अगस्त-2019 राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण, नई दिल्ली एवं मध्यप्रदेश राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, जबलपुर के निर्देशन में एवं जिला न्यायाधीश जिला विधिक सेवा प्राधिकरण शिवपुरी श्री अमनीश कुमार वर्मा के मार्गदर्शन में प्लीबारगेनिंग (सौदा अभिवाक) एवं अपील के अधिकार विषय पर कानूनी जागरूकता शिविर आज सर्किल जेल शिवपुरी में आयोजित किया गया।
शिविर में जिन बंदियों के पास उनकी कार्यवाही हेतु अधिवक्ता न होने पर तत्काल अधिवक्ता नियुक्त किए जाने की कार्यवाही की गई तथा जिन कैदियों को उनके अधिवक्ताओं के संबंध में कोई जानकारी नहीं थी। उन्हें उनके अधिवक्ता के नाम बताए जाकर उनसे संपर्क करवाया गया।
अपर जिला जज श्री प्रमोद कुमार सिंह ने द्वारा बंदियों को प्लीबारेगेनिंग के बारे में बताया गया कि ऐसे अपराध जो कि महिलाओं, बालकों एवं सात वर्ष से अधिक अवधि से दण्डनीय अपराधों से संबंधित नहीं है, उन अपराधों में यदि अभियुक्त द्वारा अभिरक्षा में आधे से अधिक अवधि व्यतीत कर ली है तब वह संबंधित न्यायालय में प्लीबार्गेनिंग हेतु आवेदन पेश कर सकता है, जिस पर संबंधित न्यायालय समुचित कार्यवाही करेगा।
जिला विधिक सहायता अधिकारी श्रीमती शिखा शर्मा ने बंदियों को बताया कि यदि वे विचारण न्यायालय के निर्णय के विरूद्ध अपील करना चाहते है, तब उस स्थिति में अपील में भी विधिक सहायता के माध्यम से अपील प्रस्तुत कर सकते है, यह बंदियों का कानूनी अधिकार है। इसी के साथ-साथ बंदियों को जेल लोक अदालत जमानत का अधिकार निःशुल्क विधिक सहायता जिसके अंतर्गत समस्त बंदियों को शासन द्वारा निःशुल्क वकील उपलब्ध करवाया जाता है, उसके संबंध में भी जानकारी दी गई तथा महिला एवं पुरूष बंदियों के स्वास्थ्य के संबंध में पूछताछ कर उचित उपचार की कार्यवाही किए जाने हेतु आश्वस्त किया गया।
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