भोपाल।मुख्यमंत्री कमलनाथ की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में अहम प्रस्तावों को मंजूरी दी गई है। फ्लोर टेस्ट से पहले सियासी घमासान के बीच कमलनाथ सरकार ने कर्मचारियों का मंहगाई भत्ता बढ़ा दिया है।कर्मचारियों को जुलाई 2019 से पांच प्रतिशत महंगाई भत्ता दिया जाएगा। इसके साथ ही एक अप्रैल 2020 से नकद भुगतान किया जाएगा। मध्य प्रदेश में चल रहे सियासी घमासान के बीच यह राज्य सरकार का मास्टर स्ट्रोक माना जा रहा है। माना जा रहा है जनता को एकसुत्र में साधने के लिए सरकार ने यह फैसला लिया है।इसके अलावा भी कई महत्वपूर्व प्रस्तावों को मंजूरी दी गई है।कर्मचारियों में खुशी की लहर है।
जनसंपर्क मंत्री पीसी शर्मा ने कैबिनेट बैठक की ब्रीफिंग करते हुए कहा कि कर्मचारियों को जुलाई 2019 से पांच प्रतिशत महंगाई भत्ता और 1अप्रैल 2020 से नकद भुगदान किया जाएगा। मध्य प्रदेश रेत नियमों में संशोधन किया गया है, निविदा में तीन दिन की अवधी को 15 दिन किया गया है। कोरोना को चलते को विधानसभा सत्र को आगे बढ़ाने को लेकर उन्होंने कहा कि यह निर्णय कैबिनेट नहीं लेती, विधानसभा में ही इसको लेकर चर्चा की जाएगी। पीसी शर्मा ने कहा कि जयपुर में भी कोरोना के मरीज मिले हैं, हमने अपने विधायकों की जांच करवाई है, हरियाणा और बेंगलुरु में भी कोरोना के मरीज मिलने के चलते वहां से आने वाले लोगों की भी जांच की जाएगी। बेंगलुरु से विधायक यहां आना चाहते हैं, लेकिन आने नहीं दिया जा रहा।
गौरतलब है कि प्रदेश के करीब दस लाख कर्मचारी अधिकारी लंबे समय से मंहगाई भत्ते का इंतजार कर रहे थे। वे सरकार के खिलाफ कई बार नाराजगी जता चुके थे। चुंकी अक्टूबर 2019 में ही केंद्र सरकार (central government) ने अपने कर्मचारियों को भत्ता 12% से बढ़ाकर 17% कर दिया था जो 1 जुलाई से देय था।बावजूद इसके मध्य प्रदेश की सरकार ने नहीं बढ़ाया था।
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