Music

BRACKING

Loading...

ग्वालियर/ मथुरा से दर्शन कर लौट रहे स्टूडियो संचालक व दो बच्चों सहित चार की मौत


ग्वालियर। यहां एक भीषण सड़क दुर्घटना में पिता और उसके दो बच्चों समेत चार की मौत हो गई।ग्वालियर। यहां एक भीषण सड़क दुर्घटना में पिता और उसके दो बच्चों समेत चार की मौत हो गई।
  •    

  • हादसे में 9 लोग घायल, मथुरासे दर्शन कर अशोकनगर के लिए निकला था परिवार
  • हाईवे पर रोइंग साइड आ रहा था ट्रक, तेज रफ्तार में टवेरा दौड़ा रहा था ड्राइवर, तभी लगी झपकी तो चलते ट्रक में भिड़ी

Dainik Bhaskar

Mar 18, 2019, 06:56 PM IST
ग्वालियर.मथुरा से दर्शन कर लौट रहे अशोकनगर के फोटो स्टूडियो संचालक और उनके दो बच्चों सहित चार लोगों की सड़क हादसे में मौत हो गई। हादसा ग्वालियर-शिवपुरी हाईवे पर मोहना के पास सोमवार तड़के 4 बजे हुआ। स्टूडियो संचालक अपने परिवार और परिचितों के साथ जिस टवेरा गाड़ी में सवार थे, उसका ड्राइवर हाईवे पर तेज रफ्तार में गाड़ी दौड़ा रहा था। तभी अचानक रॉंग साइड एक ट्रक घुसा और इसी दौरान ड्राइवर की भी झपकी लग गई। झपकी लगते ही गाड़ी सीधे सामने से आ रहे ट्रक में जा घुसी। ट्रक चालक ने भी ब्रेक नहीं मारे और टक्कर होने के बाद वह ट्रक लेकर फरार हो गया।
ड्राइवर की बगल वाली सीट पर बैठे स्टूडियो संचालक व बेटी सहित उनके यहां काम करने वाले युवक की मौके पर ही मौत हो गई। जबकि उनके बेटे ने अस्पताल में दम तोड़ दिया। हादसे में 9 लोग घायल हैं, जिन्हें जेएएच में भर्ती करवाया गया है।

अशोकनगर स्थित कारीगर मोहल्ला में रहने वाले दीपक पुत्र परमानंद अहिरवार उम्र 29 साल अपनी पत्नी पिंकी, बेटी सिद्धी उम्र 3 साल, बेटा सिद्धार्थ उम्र 2 साल के साथ मथुरा गए थे। उनके साथ उनके यहां काम करने वाला विपुल जैन, अरविंद लोधी, अरविंद की पत्नी रिंकी और बेटा निष्कर्ष, सोनू लोधी, उसकी पत्नी सपना व दो बेटे, चंदू लोधी भी गए थे। यह सभी लोग किराए पर टवेरा करके 16 मार्च की रात को मथुरा के लिए निकले थे।
रविवार को रात 9 बजे चले थे
मथुरा में दर्शन करने के बाद रविवार रात 9 बजे मथुरा से अशोकनगर के लिए निकले। सुबह करीब 4 बजे ग्वालियर-शिवपुरी हाइवे पर मोहना के पास से गुजर रहे थे। इसी दौरान एक ट्रक रॉंग साइड घुस आया। टवेरा चला रहे ड्राइवर रविन्द्र बैरागी को इसी दौरान अचानक झपकी लग गई। रोइंग साइड से चला आ रहे ट्रक चालक ने भी ब्रेक नहीं मारे और गाड़ी ट्रक में जा घुसी। टक्कर इतनी जबरदस्त थी कि आगे ड्राइवर की सीट के बगल से बैठे दीपक उनकी बेटी सिद्धी और विपुल की मौके पर ही मौत हो गई। पीछे दीपक का बेटा सिद्धार्थ अपनी मां की गोद में बैठा था। अस्पताल में डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।

ड्राइवर से कहा था- नींद आ रही है तो गाड़ी रोककर सो ले
मैं सबसे पीछे बैठा था। बीच वाली सीट पर पिंकी भाभी, रिंकी भाभी, सपना भाभी और बच्चे बैठे थे। ड्राइवर के बगल वाली सीट पर दीपक भैया, विपुल और सिद्धी भैया की गोद में थी। रात करीब 2 बजे ड्राइवर को झपकी लग रही थी। इस पर उसे टोका कि अगर नींद आ रही है तो गाड़ी रोककर सो ले या फिर विपुल को गाड़ी दे दे। लेकिन वह नहीं माना। सुबह करीब 4 बजे अचानक धड़ाम की आवाज हुई, सभी गहरी नींद में सो रहे थे। आगे वाली सीट पर भैया, सिद्धी और विपुल दबे हुए थे। ड्राइवर के भी सिर में खून लगा था। गहरी नींद में था, इसलिए सिर्फ इतना अहसास हुआ कि अचानक भूकंप सा आया।

मां पिंकी मुंह छिपाकर रोती रही
पिंकी को नहीं बताया गया कि उसके पति और दोनों बच्चों की हादसे में मौत हो गई। वह बार-बार अपने पति और बच्चों के बारे में पूछ रही थी। जेएएच के ट्रामा सेंटर में वह भी भर्ती है, उसे बार-बार परिजन यह कहकर दिलासा देते रहे कि तीनों का इलाज चल रहा है और तीनों ठीक हो जाएंगे। वह बार-बार उन्हें दिखाने की जिद कर रही थी।बेटे और नाती-नातिन की मौत पर मां बहू के पास बैठी थी। वह मुंह छिपाकर रोती रही। उसे आंसू रुक नहीं रहे थे, लेकिन जब ध्यान आता कि बहू को कुछ बताया नहीं तो खुद को रोकने की कोशिश करती। उनके पूरे परिवार की खुशियां छिन गईं।

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ