- शहर में मेडिकल कॉलेज की दीवार से लगे रास्ते पर पत्थरों को रखकर अतिक्रमण किया गया।
- रविवार को ज्यादा लोग कब्जे करने पहुंचे क्योंकि छुट्टी के दिन कार्रवाई के लिए अफसर नहीं आएंगे
- 70 बीघा जमीन में से 38 बीघा हाउसिंग बोर्ड को 3 साल पहले आवंटित हुई, उसी पर कब्जा
- सात दिन से बढ़े कब्जे, क्योंकि दूसरी अवैध काॅलोनियों पर कार्रवाई न होने से हौसले बुलंद
- कब्जा करने की ऐसी जल्दी कि किसी ने चूने से अपना नाम लिखा तो किसी ने पत्थर रख लिए
शिवपुरी मेडिकल कॉलेज से लगी 150 करोड़ कीमत की सरकारी जमीन पर लोगों ने कब्जा कर लिया है। बाकायदा चूना-पत्थर डालकर खुद ही प्लॉटिंग कर ली। सरकारी जमीन पर कब्जे की होड़ सी मची है। कुछ लोगों ने तो अपनी झोंपड़ियां तक बना ली हैं। पिछले एक सप्ताह से लगातार कब्जे बढ़ रहे हैं।
रविवार को अवकाश के चलते कब्जा करने वालों की भीड़ ज्यादा रही। लोग चूना डालकर और पत्थर रखकर अपना-अपना प्लॉट आरक्षित करते देखे गए। कुछ लोगों ने तो झोंपड़ियां बना ली हैं। करीब 70 बीघा जमीन में से 38 बीघा (8.031 हैक्टेयर) जमीन मप्र हाउसिंग बोर्ड को आवंटित है, उस पर भी लोगों ने कब्जा कर लिया है। मेडिकल कॉलेज की बाउंड्रीवॉल से लगी रास्ते किनारे की जमीन पर भी लोगों ने चूना डालकर अपने-अपन प्लाॅट बना लिए हैं।
38 बीघा जमीन का हाउसिंग बोर्ड ने 2.31 करोड़ प्रीमियम और 50 लाख भू-भाटक जमा किया
मेडिकल कॉलेज के बगले से हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी बनी है। उसी के बगल से खाली पड़ी 38 बीघा सरकारी जमीन पर भी हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी बसाने जा रहा है। इसके लिए हाउसिंग बोर्ड ने 2.31 करोड़ प्रीमियम और 50 लाख रुपए का भू-भाटक राजस्व विभाग को जमा करा दिया है। यह जमीन कृषि में दर्ज है जिसका लैंडयूज परिवर्तन कराने के लिए टाउन एंड कंट्री प्लानिंग में प्रस्ताव भेजा है। इधर लोगों ने जमीन पर कब्जा जमा लिया है।
कब्जे रोकने बोर्ड के अफसर भी बैरंग लौटे
अपने हिस्से की जमीन पर कब्जे रोकने के लिए हाउसिंग बोर्ड ने चौकीदार रखा है। लोगों को रोकते-रोकते चौकीदार हताश हो गया। हाउसिंग बोर्ड के अफसर भी बैरंग लौट गए। मामले की शिकायत कोतवाली थाने से लेकर एसडीएम और तहसीलदार तक को कर दी है।
कब्जा कर रहे लोग बोले- दूसरों का कब्जा हटेगा तो हमारा भी हट जाएगा
माैके पर कब्जा करने महिलाएं भी पहुंच गईं। पूछने पर महिलाएं कहने लगीं कि जैसे फक्कड़ कॉलोनी बस गई, इसी तरह यह भी बस जाएगी। यदि दूसरे लोगों का कब्जा हटेगा तो हमारा भी हट जाएगा। कुछ लोगों ने बताया कि मेडिकल कॉलेज की नर्सें भी आकर पत्थर रख गईं हैं। खास बात यह है कि चूना डालकर प्लॉट के अंदर लोगों ने अपने नाम के अक्षर भी अंकित कर दिए हैं।
एसडीएम, तहसीलदार और कोतवाली टीआई से शिकायत कर चुके हैं
हमारी जमीन पर लोग कब्जे कर रहे हैं, जिसकी शिकायत एसडीएम, तहसीलदार और कोतवाली टीआई को भी कर चुके हैं। सोमवार को फिर अधिकारियों को बताकर कब्जे हटवाने ले जाएंगे। हमारा चौकीदार भी लगा है, हम खुद भी लोगों को समझा चुके हैं, फिर भी लोग नहीं मान रहे। कॉलोनी बनाने से पहले लैंडयूज परिवर्तन के लिए टीएनसीपी में प्रस्ताव गया है।
पीके जैन, सब इंजीनियर, मप्र हाउसिंग बोर्ड गुना/शिवपुरी
मैं भी प्लॉट घेर रहा हूं। सुना है कि मेडिकल कॉलेज की नर्सें भी आकर यहां पत्थर रखकर प्लॉटिंग कर गईं हैं। यदि कब्जा हो गया तो आगे देखेंगे। - नरेश वाल्मीकि, कब्जाधारी
सभी लोग कर रहे हैं, इसलिए हम भी प्लॉट घेरने आ गए हैं। देखते-देखते फक्कड़ कॉलोनी भी बस गई है। लोगों ने वहां कब्जे कर लिए थे, अब वहां पूरी बस्ती बस गई है। यहां भी बस जाएगी। -ममता सिंह, कब्जाधारी
पुलिस फोर्स ले जाकर कब्जे हटाने जाएंगे
एक बार जाकर हम कब्जे हटा आए थे। लेकिन सूचना मिल रही है कि लोगों ने फिर से जाकर कब्जे कर लिए हैं। इस बारे में कलेक्टर साहब को अवगत कराकर पुलिस फोर्स ले जाकर कब्जे हटाने जाएंगे।
भूपेंद्र सिंह कुशवाह, तहसीलदार शिवपुरी

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